नालंदा जिले के नगरनौसा थाना क्षेत्र से यह तस्वीर प्राप्त हुई है, जो बहुत कुछ कहती है और पुलिस व्यवस्था तंत्र पर अनेक सबाल खड़े करते हैं, जिनमें उनकी लापरवाही, कर्त्वयहीनता के साथ मीडियाई छपास की प्रवृति भी स्पष्ट शामिल है।
वेशक आज नालंदा क्या समूचे बिहार की पुलिस प्रतिबंधित शराब के पिछे हाथ धोकर पड़ी है। कोई छोटा मामला हो या बड़ा मामला, पुलिस को जैसे ही हाथ लगता है, उसे एक उपलब्धि मान मीडिया से जुड़े लोगों को सादर आमंत्रित करने में जुट जाते हैं।
आज स्थानीय स्तर पर रिपोर्टरों ने हर जगह व्हाट्सएप्प ग्रुप बना रखा है। उसमें चौकीदार से एसपी–डीएम (प्रायः) तक जुड़े होते हैं। नतीजतन ऐसी तस्वीरों का वायरल होना लाजमि है।
प्राप्त तस्वीर में नगरनौसा थाना प्रभारी अपनी कुर्सी पर बैठे हैं। उनके बगल में एक एएसआई भी तशरीफ जमाये हैं। जिनके पीछे खड़ा है एक पांच लीटर जर्किंग के साथ हथकड़ी लगा आरोपी युवक, जिसकी लगाम थामे है बिना वर्दी के सिर में गमछा बांधे और गंजी पहने चौकीदार। आरोपी युवक के बारे में कहा जाता है कि वह स्थानीय हरनौत विधायक हरिनारायण सिंह के गांव से पांच लीटर अवैध शराब के साथ धराया है।
यह तस्वीर उस समय खींची गई है, जब थाना प्रभारी आरोपी को जेल भेजने के ठीक पूर्व मीडिया के सामने खिंचवाई है। बताया जाता है कि इस तस्वीर को तो खुद नगरनौसा थाना ध्यक्ष ने ग्रुप में डाली थी।जिसके बाद लगता है सभी ग्रुप में वायरल हो गई
अब सबाल उठता है कि चित्रित थाना प्रभारी किसी भी आरोपी को इस तरह एक चौकीदार के हाथ में सौंपने और उसे वैसे ही अवस्था में जेल भेजने के अनुशासन कहां से सीखे। क्या यह कार्य चौकीदार-दफादार मैन्यूअल के तहत जायज है। अगर है भी तो एक थानाध्यक्ष के सामने बिना वर्दी के…..समझ से परे है।