अन्य
    Saturday, April 27, 2024
    अन्य

      सपा से 5वीं बार Jaya Bachchan ही राज्यसभा क्यों? जानें अंदर की बात

      नई दिल्ली (एक्सपर्ट मीडिया न्यूज)। एक बार फिर सदी के महानायक अमिताभ बच्चन की धर्मपत्नी अभिनेत्री जया बच्चन राज्यसभा जाने की तैयारी में हैं। समाजवादी पार्टी ने उन्हें पांचवीं बार अपना उम्मीदवार बनाया है। ऐसे में सवाल उठना लाजमि है कि आखिर जया बच्चन में ऐसी खासियत क्या है कि सपा पार्टी लगातार उन्हें राज्यसभा भेज रही है। जबकि अन्य कई वरिष्ठ नेता और कार्यकर्ता पार्टी की कतार में हैं।

      पार्टी के भीतरी आवाज सिर्फ सहयोगी दलों से ही नहीं, बल्कि पार्टी कैडर से भी उठी है। सोशल मीडिया पर पार्टी कार्यकर्ताओं ने इस फैसले को लेकर अपनी ही पार्टी के शीर्ष नेताओं की खूब आलोचना की है।

      पलवी पटेल यूं तो तकनीकी रूप से समाजवादी पार्टी की विधायक हैं, लेकिन उनकी अपनी पार्टी अपना दल (कमेरावादी) ने तो अपना स्टैंड ही साफ कर दिया था कि वह किसी सूरत में रंजन और बच्चन को वोट नहीं करेंगी।

      दरअसल, जया बच्चन का पांचवीं बार राज्यसभा के लिए उम्मीदवारी के पीछे की सबसे बड़ी वजह यादव परिवार के साथ उनकी घनिष्ठता है। मुलायम सिंह ने चार बार उन्हें राज्यसभा भेजा और माना जाता है कि जया बच्चन के इस परिवार से वैचारिक और पारिवारिक निकटता बेहद ज्यादा है।यहां तक की अमर सिंह जब परिवार से बाहर कर दिए गए तब भी जया बच्चन ने मुलायम सिंह यादव और उनके परिवार को नहीं छोड़ा।

      जया बच्चन डिंपल यादव की पसंद मानी जाती हैं। माना जाता है कि सदन के भीतर डिंपल यादव और जया बच्चन की केमिस्ट्री बिल्कुल परफेक्ट है।डिंपल यादव के अलावा रामगोपाल यादव भी बच्चन के पक्ष में रहे हैं।

      दूसरी बड़ी वजह जया बच्चन उस आधी आबादी से आती है जिसका प्रतिनिधित्व समाजवादी पार्टी दिखाना चाहती है यानी महिला कोटे में उन्हें माना जाता है।

      जया बच्चन एक सेलिब्रिटी स्टेटस रखती हैं और पार्टी को लगता है कि राज्यसभा में वह एक ऐसा चेहरा है जो विचारों को लेकर भी अधिक है और पार्टी के भीतर कला और संस्कृति का भी वह प्रतिनिधित्व करती नजर आती हैं।

      पार्टी के भीतर एक और वजह यह मानी जाती है कि जया बच्चन पार्टी के आंतरिक मामलों में कहीं किसी तरीके का हस्तक्षेप नहीं करती। फिर चाहे पार्टी का संगठन हो,पार्टी का टिकट बटवारा हो या फिर राज्यसभा सांसद के तौर पर उन्हें विकास के काम कराने हो, जैसा पार्टी तय कर देती है, उसमें जया बच्चन कोई हस्तक्षेप नहीं करती।

      आखिर में समाजवादी पार्टी को यह भी लगता है कि महिलाओं की प्रगतिशील आवाज के तौर पर जया बच्चन का चेहरा देश में काफी बड़ा है। ऐसे में पार्टी लगातार उन्हें राज्यसभा भेज रही है।

      हालांकि पीडीए की बात करने और एक भी ओबीसी और मुस्लिम को तीन लोगों की राज्यसभा की उम्मीदवारी में शामिल न करने पर समाजवादी पार्टी को चौतरफा आलोचनाएं झेलनी पड़ रही है।

      समाजवादी पार्टी का कहना है कि लोकसभा के उम्मीदवारों में सबसे ज्यादा पीडीए है, ओबीसी और दलितों को सबसे ज्यादा टिकट दिया जा रहा है। इसके अलावा अभी माना जा रहा है कि विधान परिषद के तीन सीटों में समाजवादी पार्टी दो मुस्लिम चेहरों को उतार सकती है,ताकि वह इन आलोचनाओं का सामना कर सके।

      फिलहाल सपा पार्टी ने राज्यसभा की उम्मीदवारी में जया बच्चन पर हुई आलोचनाओं को देखते हुए सभी उम्मीदवारों के लिए 37-37-37 वोट तय कर दिए, ताकि किसी के प्रति पक्षपात का आरोप न लग सके। इस वजह से उम्मीदवारों में फर्स्ट सेकंड या थर्ड की कोई वरीयता नहीं रखी गई है।

      पार्टी का कहना है कि सभी के लिए बराबर वोट तय किए गए हैं। ऐसे में जो अपने वोट डलवा ले जाएंगे, वह जीतेंगे और जिनके वोट कम पड़ गए वह हार सकते हैं। अब देखना यह है कि जया बच्चन के कोटे में आए विधायक उन्हें वोट देते हैं या फिर क्रॉस वोटिंग कर जाते हैं।

      [embedyt] https://www.youtube.com/watch?v=KtxEtnOJ_uE[/embedyt]

      नालंदा में मातम में बदली शब-ए-बारात, 2 युवक की मौत, 3 युवक गंभीर  

      बिहार विधानसभा में बौखलाए CM नीतीश, कहा- RJD जिंदाबाद बोलेंगे, KK पाठक ईमानदार, नहीं हटाएंगे

      सीएम के नालंदा में जदयू सांसद और सिविल सर्जन के बीच बकझक का वीडियो वायरल

      बहुमत की रात : सीएम नीतीश के लिए भारी, फ्लोर टेस्ट में तय होगा 19 साल का सफर

      गांव से चल रही हमारी सरकार, दरवाजा पर मिल रहा योजनाओं का लाभ : चम्पाई सोरेन

      संबंधित खबरें
      error: Content is protected !!
      भयानक हादसा का शिकार हुआ तेजस्वी यादव का जन विश्वास यात्रा काफिला जमशेदपुर जुबली पार्क में लाइटिंग देखने उमड़ा सैलाब Naxalite bunker and camp demolished in forested hilly area of Jharkhand National Science Day 2024: बच्‍चों को एक बार जरूर दिखाएं ये 5 साइंस म्‍यूजियम Mayank Yadav is not a storm but a dangerous sunami