तकनीकदेशपटनाबिग ब्रेकिंगबिहारशिक्षा

New education revolution: 2026 से कई कॉलेजों में शुरू होगी 4 वर्षीय ITEP कोर्स

ITEP के लागू होने से बिहार के छात्रों को अब अपने ही राज्य में गुणवत्तापूर्ण शिक्षक प्रशिक्षण प्राप्त करने का मौका मिलेगा। इससे न केवल शिक्षा व्यवस्था को मजबूती मिलेगी, बल्कि शिक्षक निर्माण की प्रक्रिया भी अधिक सशक्त और व्यावहारिक हो सकेगी...

पटना (एक्सपर्ट मीडिया न्यूज)। शिक्षा के क्षेत्र में एक बड़े बदलाव की ओर कदम बढ़ाते हुए (New education revolution) बिहार के युवाओं के लिए शिक्षक बनने की राह अब और अधिक व्यवस्थित और आधुनिक होने जा रही है। वर्ष 2026 से बिहार के कई कॉलेजों में फोर ईयर इंटीग्रेटेड टीचर एजुकेशन प्रोग्राम (ITEP) की पढ़ाई शुरू होने जा रही है। यह चार वर्षीय इंटीग्रेटेड कोर्स भविष्य के शिक्षकों को उच्च गुणवत्ता वाली ट्रेनिंग देगा, जिससे शिक्षा व्यवस्था को नई दिशा मिलेगी।

राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद (NCTE) द्वारा 2025 सत्र के लिए पूरे देश से 763 संस्थानों से आवेदन प्राप्त हुए हैं, जिनमें सबसे अधिक आवेदन बिहार और उत्तर प्रदेश से हैं।

NCTE के अनुसार बिहार के लगभग 180 संस्थानों ने चार वर्षीय इंटीग्रेटेड बीएड कोर्स (ITEP) शुरू करने के लिए आवेदन किया है। यह दिखाता है कि राज्य में शिक्षा को लेकर संस्थानों और छात्रों दोनों में जागरूकता और उत्साह बढ़ा है।

ITEP एक चार वर्षीय इंटीग्रेटेड कोर्स है, जिसे 12वीं पास छात्र-छात्राएं कर सकते हैं। इसमें शिक्षा के साथ-साथ विषय की गहराई और व्यावहारिक प्रशिक्षण पर विशेष ध्यान दिया जाता है। यह कोर्स बीए-बीएड, बीएससी-बीएड या बीकॉम-बीएड जैसे संयुक्त कार्यक्रम के रूप में चलता है।

चार वर्षीय ITEP कोर्स में प्रवेश के लिए नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) द्वारा आयोजित किया जाने वाला नेशनल कॉमन एंट्रेंस टेस्ट (NCET) अनिवार्य होगा। यह परीक्षा पूरे भारत में आयोजित की जाती है और मेरिट के आधार पर दाखिला दिया जाता है।

NCTE ने एक और बड़ा निर्णय लेते हुए 2024 से दो वर्षीय बीएड कोर्स को बंद करने की घोषणा की है। अब से केवल चार वर्षीय ITEP कोर्स को मान्यता दी जाएगी। इसका उद्देश्य है शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार और समय की बचत जिससे छात्र चार साल में ही शिक्षक बनने के लिए पूरी तरह से प्रशिक्षित हो सकें।

सूत्रों के मुताबिक 2025 सत्र में लगभग 150 संस्थानों को इंटीग्रेटेड बीएड कोर्स शुरू करने की मंजूरी मिल सकती है। इससे 9000 से अधिक सीटों पर इस बार दाखिले की संभावना है। यह आंकड़ा आगे और बढ़ सकता है। जिससे अधिक से अधिक छात्रों को अवसर मिलेगा।

ITEP के लागू होने से बिहार के छात्रों को अब अपने ही राज्य में गुणवत्तापूर्ण शिक्षक प्रशिक्षण प्राप्त करने का मौका मिलेगा। इससे न केवल शिक्षा व्यवस्था को मजबूती मिलेगी, बल्कि शिक्षक निर्माण की प्रक्रिया भी अधिक सशक्त और व्यावहारिक हो सकेगी।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
Ashoka Pillar of Vaishali, A symbol of Bihar’s glory Hot pose of actress Kangana Ranaut The beautiful historical Golghar of Patna These 5 science museums must be shown to children once