“हाईमॉस्क लाईट नहीं जलने से राहगीरों को हो रही है परेशानी, शहर के कई अन्य इलाकों में भी नहीं काम कर रहा है लाईट”
हिलसा ( चन्द्रकांत)। शहरी लोगों को बेहतर सुविधा देने का दावा करने वाला नगर परिषद एक अद्द लाईट की भी मरम्मती नहीं करवा पा रहा है। इसका जीता जागता उदाहरण है नालंदा जिले के हिलसा नगर के ह्रदयस्थली के रुप में चर्चित वरुणतल चौराहा पर स्थापित हाईमॉस्क लाईट।
शहर को रौशनी से चकाचौंध करने के उद्देश्य से शहर के गलियों में जहां बिजली के खंभों पर लाईट लगाया गया, वहीं शहर के मुख्य स्थलों पर हाईमॉस्क लाईट लगया गया।
लाईट लगाने का मुख्य मकसद शहर में आवाजाही करने वालों को रौशनी की बेहतर सुविधा देना था। इस सुविधा को बहाल करने के लिए शहरवासियों की लाखों रुपये गाढ़ी कमाई खर्च कर दी गई।
कुछ दिन तक ठीक-ठाक ढंग से काम करने वाले लाईट अब काम करना बंद कर दिया। ऐसे लाईटों की संख्या शहर के गली-मुहल्ले में काफी है, जिसकी गिनती नहीं की जा सकती, लेकिन मुख्य सड़क पर लगी लाईटों पर ध्यान सिर्फ शहरवासी ही नहीं बल्कि शहर से होकर गुजरने वाले हरलोग देते हैं।
शहर के मुख्य सड़कों पर तकरीबन एक दर्जन से अधिक जगहों पर हाईमॉस्क लाईट स्थापित है। इन लाईटों में से करीब आधा दर्जन हाईमॉस्क लाईट इन दिनों काम नहीं कर रहा है।
ऐसे ही लाईटों की सूची में सुमार है शहर के ह्रदयस्थली के रुप में चर्चित वरुणतल चौराहा लगा हाईमॉस्क लाईट। पिछले करीब तीन माह से तकनीकी दोष के कारण लाईट काम नहीं कर रहा।
ऐसी बात नहीं कि नगर परिषद के अधिकारी और कर्मचारी के संज्ञान में यह बात नहीं है। जानकरी होने के बाबजूद अंजान बने रहने के नगर परिषद कर्मियों की शैली का खामियाजा शहरवासियों तथा राहगीरों को भुतना पड़ रहा है।
मालूम हो कि वरुणतल चौराहा से ही हिलसा स्टेशन जाने का मुख्य रास्ता है। रात में ट्रेन से सैंकड़ा यात्री उतर कर अपने-अपने घर जाते हैं। मुख्य चौराहे के निकट अंधेरा से हो रही परेशानी सबों को खल रही है।
लाईट मरम्मती की आड़ में खजाना हो रहा है खालीः विजय
शहरवासियों के हित में नगर परिषद के अंदर के साथ-साथ शोसल मीडिया में मुद्दा रखने वाले वार्ड पार्षद विजय कुमार विजेता की मानें तो लाईट मरम्मती के एवज में हर माह खजाना खाली हो रहा है।
युवा पार्षदों में सुमार श्री विजेता ने बताया कि शहरवासियों की सुविधा का मुद्दा कई बार नगर कार्यपालक पदाधिकारी के पास रखा गया। हमेंशा मुद्दों पर चर्चा करने के बजाए अनसुनी किया जाता रहा है।
फलाफल सामने दिख रहा है कि शहर के महत्वपूर्ण स्थलों पर लगा लाईट बंद पड़ा है मरम्मती के नाम पर खजाने से रुपयों की निकासी हो रही है। विशेष पर्व-त्यौहार के मौके पर दिखावे के लिए दुरुस्त कर दिया जाता है।
कहते हैं अधिकारी……….
शहर में बंद लाईटों की मरम्मती के लिए हाल ही के दिनों में ठीकेदार को जिम्मेवारी सौंपी गई। ठीकेदार द्वारा मरम्मती का काम भी शुरु कर दिया गया है। जल्द ही सभी लाईटों की मरम्मती करवा दिया जाएगा। लाईट मरम्मती की आड़ में किसी प्रकार की गड़बड़ी नहीं की गई। ……….दीनानाथ, नगर कार्यपालक पदाधिकारी, हिलसा।