पटना। “आजादी के सत्तर साल बाद एक बार फिर देश गुलाम हो गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से जीने की आजादी छीन ली है।” उक्त बातें पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पटना के गर्दनीबाग में आयोजित एक धरना को संबोधित करते हुए कही।
उन्होंने कहा कि रोटी, कपड़ा और मकान किसी भी मनुष्य के लिए सबसे बड़ी जरूरत है। लेकिन केंद्र सरकार ने नोटबंदी लागूकर देश में लोगों को इन सभी से वंचित कर दिया है। आज हालत यह है कि गांवों में किसान और मजदूर सब बेहाल हैं। उनके पास न तो घर चलाने को पैसे हैं और न ही उनके द्वारा उत्पादित अनाज को खरीदने वालों के पास उन्हें देने को पैसे हैं।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री देशवासियों को रोटी के बदले मोबाइल खिलाना चाहते हैं। वे कहते हैं कि वे देश को कैश लेस बनायेंगे। लेकिन उन्हें इस बात की जानकारी नहीं है कि आज भी देश के अधिकांश गांवों में बैंक नहीं है। साथ ही गरीबों के पास बैंक खाते तक नहीं हैं। ऐसे में देश को कैशलेस बनाने का तरीका असल में मोबाइल कंपनियों के लिए ब्रांडिंग करने जैसा है।
उन्होंने कहा कि देश के प्रधानमंत्री आजकल यही कर रहे हैं। वे पीएम के बदले कारपोरेट कंपनियों के मुखौटे बन गये हैं।
सुश्री बनर्जी ने कहा कि बिहार के लोग बहुत मेहनती होते हैं। मेहनत कर वे अपने परिवार का भरण पोषण करते हैं। लेकिन परदेश में काम करने वाले बहुत सारे मजदूर भाई वापस लौट रहे हैं। वजह यह है कि उन्हें वेतन नहीं मिल पा रहा है। वे भूखों मरने की स्थिति में हैं। ऐसी ही स्थिति चाय बगान के मजदूरों की है। सबसे खराब हालत आज देश के असंगठित क्षेत्र के मजदूरों की है।
सुश्री बनर्जी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर ताबड़तोड़ हमला बोलते हुए कहा कि आज देश में सुपर इमरजेंसी का दौर है। उन्होंने नरेंद्र मोदी से पूछा कि आपके रैलियों के लिए पैसा कहां से आता है। क्या आप अपने लिए पैसा स्विस बैंक से लाते हैं या फिर आपका पैसा आसमान से आता है। उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी ने देश के गरीब मेहनतकश मजदूरों को एक झटके में चोर करार दे दिया। उन्होंने पूछा कि श्री मोदी को बताना चाहिए कि उनकी नजर में क्या गरीब मजदूर, किसान, रिक्शा-ठेला चलाने वालों के पास काला धन है।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री यहीं नहीं रूकीं। उन्होंने जमीन के दस्तावेज दिखाते हुए कहा कि नोटबंदी के ठीक पहले भाजपा ने कई जगहों पर भूखंड खरीदे हैं। यह साबित करता है कि काला धन किनके पास है। उन्होंने कहा कि देश में काला धन पर लगाना चाहते हैं तो बेशक रोक लगायें। लेकिन इसके नाम पर देश की गरीब और मेहनतकश जनता को परेशान नहीं होने देंगे।
उन्होंने कहा कि हम जनता द्वारा चुने गये प्रतिनिधि हैं और यदि हमारी जनता किसी भी तरह का दुख और परेशानी झेलती है तो यह हमारा कर्तव्य है कि हम उसके खिलाफ आवाज उठायें।
इस मौके पर राजद के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डा. रघुवंश प्रसाद सिंह, पूर्व सांसद जगदीप बरार, राजद के प्रदेश अध्यक्ष डा. रामचंद्र पूर्वे सहित अनेक नेताओं ने अपने विचार व्यक्त किये। जबकि पूर्व मंत्री सह जापलो के नेता अखलाक अहमद, रघुपति जी, पूर्व राजद विधान पार्षद तनवीर हसन, राजद नेत्री आभालता सहित अनेक नेता मौजूद रहे।