“अस्पताल प्रबंधन की पोल खोलती तस्वीर गोड्डा जिले की है, जहां सदर अस्पताल में बुधवार शाम 5 बजे इमरजेंसी एंट्री गेट के पास एक लाचार बाप को अपनी बच्ची की लाश मोटरसाइकिल पर ढोते देखा गया।”
गोड्डा (नागमणी)। झारखंड के सदर अस्पतालों की बदइंतजामी एक बार फिर से मानवता को शर्मसार करते नज़र आ रही है।
यहां मांगने पर भी यहां लाश ढोने के लिए वाहन सुविधा उपलब्ध नहीं कराई जाती। मजबूरी में बाईक पर बच्ची का लाश ढोना पड़ रहा है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार 12 वर्षीय ललिता कुमारी नामक बच्ची हृदय संबंधी बीमारी से ग्रस्त थी, जिसका ईलाज पहले किसी प्राइवेट क्लिनिक में कराया जा रहा था और अंतिम समय में उसे सदर अस्पताल लाया गया, जहां उसने ईलाज के दौरान दम तोड़ दी।