“तस्वीर है बिहार के विकास पुरुष CM नीतीश कुमार के गृह जिले के पर्यटन नगरी राजगीर कि जो उन्हें स्वप्न में भी स्वर्ग नजर आता है।“
राजगीर (संवाददाता)। राजगीर नगर पंचायत में पदस्थापित पदाधिकारी एवं कर्मचारी तथा नगर पंचायत के जनप्रतिनिधि, जो सुरसा की तरह आवंटित राशियों का दुरुपयोग कर रहे हैं।
यह तस्वीर है उसी पर्यटन नगरी राजगीर नगर पंचायत के वार्ड संख्या 17 के तुलसी गली की, जहां घनी आबादी में इतनी गंदगी जिसके सड़ांध से अगल बगल के लोग परेशान हो गए और अपने जनप्रतिनिधि एवं नगर पंचायत को शिकायत करके हार थक गए।
यह समस्या काफी लंबे दिनों से चली आ रही है, जिससे सब कोई वाकिफ हैं चाहे वह वार्ड कमिश्नर नगर पंचायत के मुख्य पार्षद या कोई प्रशासनिक अधिकारी हो। फिर भी यहां की सफाई का जिम्मा अपने ऊपर ना ले कर केवल इनके वोट बैंक का अधिकारी बनते हैं, शायद उन जिम्मेदार लोगों के घर परिवार से इस जगह पर कोई नहीं बसते हैं।
वेशक जहां एक तरफ सुशासन बाबू की शासन और प्रशासन और सरकार लोहिया स्वच्छ बिहार तो कहीं गांधी स्वच्छ भारत कहीं स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत का ढिंढोरा पीट रही है, वही सत्तारूढ़ शासन दल से जुड़े लोग मीडिया से मुखातिब होकर साफ-सुथरे जगह पर हाथों में झाड़ू लेकर दांत निपोरते हुए नजर आते हैं और अपनी तस्वीर को बड़े-बड़े बोर्ड और बैनरों में लगवा देते हैं लेकिन मूल समस्या जस की तस है।
यह तस्वीर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के दिलों में बसने वाला पर्यटन नगरी राजगीर की जहां के विकास के लिए वह हमेशा कृतसंकल्पित रहते हैं।
यहां के लोगों ने बताया कि यह समस्या काफी लंबे समय से है, जिसकी शिकायत वे लोग अपने वार्ड कमिश्नर एवं नगर पंचायत के कर्मचारियों से भी किया, मगर आज तक किसी के कान में जूं तक न रेंगा। आखिर सबके सब थेथर जो ठहरे।