“किसी काम पर अगर किसी की नादानी से प्रश्नवाचक लग जाय तो लगा हुआ प्रश्नवाचक चिन्ह न जाने कितने दिनों तक किसी के द्वारा किये गए अच्छे काम के आड़े आता है….”
गौरतलब है कि थरथरी और हिलसा प्रखण्ड सीमा पर स्थित हांसेपुर मिल्की गांव के अंदर दो सड़क का निर्माण कराया गया था। जिसमे हासेपुर कचहरिया सड़क का निर्माण कार्य छह साल पूर्व हुआ था, जो वर्तमान में जर्जर स्थिति में है।
यह सड़क किसी दूसरे संवेदक के द्वारा निर्माण करवाया गया था। जबकि कचहरिया गांव से जुड़ी गांव तक सड़क कार्य का निर्माण दो माह पूर्व में कराया गया था, जो बिल्कुल चकाचक दिख रहा है।
वहीं इस वायरल खबर के ऊपर संवेदक मनोरंजन कुमार सिंह ने सरकार से गुहार लगाते हुए कहा कि स्थानीय प्रशासन किसी भी तरीके से इस इलाके का निरीक्षण करें, उसके बाद अगर हमारी सड़क में कोई भी गलती नजर आती है तो वह हर जांच के लिए पूरी तरह से तैयार है।
उन्होंने कहा कि किसी राजनीतिक विरोधियों के इशारे पर हमारे नवनिर्मित सड़क किनारे लगे बोर्ड को दिखाया गया है, जबकि किसी दूसरे जर्जर सड़क को हमारे नवनिर्मित सड़क किनारे लगे बोर्ड के साथ जोड़कर खबरों को बनाकर वायरल किया गया है।
हमारे द्वारा बनाए गए सड़क की लंबाई लगभग डेढ़ किलोमीटर है और उसमें लागत लगभग 57 लाख रुपये है, जबकि दिखाए गए सड़क की लंबाई कुछ और ही है, उसकी लागत लगभग 10 करोड़ दिखाया जा रहा है।