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Inside Story: जानें निगरानी की जाल में कैसे फंसी समस्तीपुर महिला थानेदार

समस्तीपुर (एक्सपर्ट मीडिया न्यूज)। Inside Story: बिहार के समस्तीपुर जिले में निगरानी विभाग ने भ्रष्टाचार के खिलाफ एक और बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है। इस बार निशाने पर थीं समस्तीपुर महिला थाना की थानाध्यक्ष पुतुल कुमारी और उनके ड्राइवर गुड्डू कुमार, जिन्हें 20 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया। यह कार्रवाई एक मारपीट मामले को रफा-दफा करने के लिए रिश्वत मांगने की शिकायत के आधार पर की गई, जिसने स्थानीय पुलिस महकमे में हड़कंप मचा दिया है।

निगरानी विभाग के डीएसपी राजेश कुमार ने बताया कि मुफस्सिल थाना क्षेत्र के छतौना गांव निवासी राजीव रंजन ने 10 जुलाई 2025 को निगरानी थाने में लिखित शिकायत दर्ज की थी। शिकायत में राजीव ने आरोप लगाया था कि उनके गांव की एक महिला, पूजा कुमारी, द्वारा दायर एक शिकायत के आधार पर महिला थानाध्यक्ष पुतुल कुमारी ने उन्हें नोटिस भेजकर थाने बुलाया। थानाध्यक्ष ने मामले को निपटाने के लिए पहले 40 हजार रुपये की मांग की, जिसके बाद 20 हजार रुपये में सौदा तय हुआ।

राजीव रंजन ने अपनी शिकायत में कहा कि पूजा कुमारी उन्हें लगातार परेशान कर रही थी और थानाध्यक्ष द्वारा रिश्वत मांगने से वह और अधिक तनाव में आ गए। शिकायत के सत्यापन के बाद निगरानी विभाग ने एक विशेष धावा दल का गठन किया, जिसने सुनियोजित तरीके से इस कार्रवाई को अंजाम दिया।

निगरानी विभाग की टीम ने सुबह से ही महिला थाना परिसर में अपना जाल बिछा रखा था। जैसे ही राजीव रंजन ने रिश्वत की रकम ड्राइवर गुड्डू कुमार के माध्यम से थानाध्यक्ष पुतुल कुमारी को सौंपी, निगरानी की टीम ने तुरंत कार्रवाई की। रासायनिक लेप लगे नोटों के साथ दोनों को रंगे हाथ पकड़ लिया गया। इस दौरान थाना परिसर में मौजूद अन्य पुलिसकर्मी और स्थानीय लोग स्तब्ध रह गए।

डीएसपी राजेश कुमार ने बताया कि पुतुल कुमारी मूल रूप से मोतिहारी जिले की रहने वाली हैं और उनके ड्राइवर गुड्डू कुमार को हिरासत में ले लिया गया है। दोनों को पूछताछ के लिए पटना स्थित निगरानी ब्यूरो के कार्यालय ले जाया गया है, जहां उनके खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया जाएगा।

इस घटना ने समस्तीपुर पुलिस महकमे में सनसनी फैला दी है। एक महिला थानाध्यक्ष का इस तरह रिश्वत लेते पकड़ा जाना न केवल पुलिस की छवि पर सवाल उठाता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि भ्रष्टाचार का जाल कितना गहरा है।

बता दें कि बिहार में भ्रष्टाचार के खिलाफ निगरानी विभाग की कार्रवाइयां लगातार तेज हो रही हैं। हाल के वर्षों में कई पुलिस अधिकारियों और सरकारी कर्मचारियों को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ पकड़ा गया है।

यह पहली बार नहीं है जब समस्तीपुर में निगरानी विभाग ने इस तरह की कार्रवाई की है। वर्ष 2021 में मथुरापुर ओपी के तत्कालीन प्रभारी संजय कुमार और वारिसनगर प्रखंड के सर्कल ऑफिसर संतोष कुमार को 20-25 हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया गया था। इसके अलावा जिले के कई अन्य अधिकारियों और कर्मचारियों को भी भ्रष्टाचार के आरोप में निगरानी की कार्रवाई का सामना करना पड़ा है।

निगरानी विभाग ने आम जनता से अपील की है कि यदि कोई सरकारी कर्मचारी या अधिकारी रिश्वत मांगता है तो वे तुरंत टोल-फ्री नंबर 1064 या अन्य हेल्पलाइन नंबरों (0612-2215344, 7765953261) या ईमेल svccvd@nic.in पर शिकायत दर्ज करें। विभाग ने यह भी आश्वासन दिया है कि शिकायतकर्ता की पहचान गोपनीय रखी जाएगी।

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