“अवैध उत्खनन को लेकर एक तरफ जहां बिहार के सीएम अपने गृह जिला नालंदा के अफसरों को जीरो टॉलरेंस की नीति अपना कर बालू के अवैध कारोबार को जड़ से उखाड़ने की बात करते हैं और पुलिस-प्रशासन के आला अफसरों के द्वारा भी अवैध खनन को लेकर निर्देश जारी किया जाता है और कहा जाता है कि जिस थाना क्षेत्र में अवैध खनन होगा, वहां के थानेदार नपेंगे और अंचलाधिकारी पर FIR दर्ज होगा।”
एक्सपर्ट मीडिया न्यूज डेस्क। लेकिन नालंदा का मानपुर थाना क्षेत्र अवैध बालू उत्खनन को लेकर हमेशा से सुर्खियों में रहता है। जिसके अवैध उत्खनन का जिम्मेवार मानपुर थाना के थानेदार समेत वरीय पुलिस-प्रशासन अफसरों की मिलीभगत साफ नजर आती है। यहां आए दिन बालू के अवैध खनन के कारण निर्दोष लोगों की जानें जाती रही है।
विगत 6 जून को मानपुर थाना क्षेत्र में अवैध बालू लाने जा रही ट्रैक्टर से तिउरी गांव के एक मजदूर की दबकर मौत हो गई थी एवं एक गंभीर रूप से घायल हो गया था, जिससे गुस्साए ग्रामीणों ने पलटी हुई ट्रैक्टर को उठाने आई जेसीबी मशीन को आग के हवाले कर दिया था।
अभी उस खून की सनी मिट्टी सूखी भी न थी कि मानपुर थाना क्षेत्र के ही गोगरी गांव में अवैध बालू लादकर जा रही ट्रैक्टर ने दो मासूमों की जान ले ली तथा भागने के दौरान ट्रैक्टर ने तीन अन्य को भी जख्मी कर दिया।
इस वारदात में गोगरी गांव निवासी लाल बहादुर पासवान का 5 वर्षीय पुत्र प्रिंस कुमार और गुड्डू यादव की 6 वर्षीया पुत्री राबड़ी कुमारी की मौत हो गई।
मृतका राबड़ी कुमारी के परिजनों ने बताया कि नदी से अवैध बालू लादकर चालक तेज गति से ट्रैक्टर ला रहा था, जिसमें सड़क किनारे खेल रहे 5 वर्षीय प्रिंस कुमार ट्रैक्टर की चपेट में आ गया, जिससे उसकी मौत घटनास्थल पर हो गई।
इस घटना की जानकारी इलाके में हवा की तरह फैल गई तो पुलिस आने के भय से दूसरी ट्रैक्टर, लोड अवैध बालू को अनलोड कर तेज गति से गोगरी गांव की ओर भाग रहा था।
उसी दौरान 6 वर्षीया राबड़ी कुमारी ट्रैक्टर की चपेट में आ गई। जिससे उसकी घटनास्थल पर ही मौत हो गई और इसी वाहन से मृतका की मां भी जख्मी हो गई।
परिजनों ने यह भी बताया कि ट्रैक्टर का एक चालक 12-13 वर्षीय नाबालिक लड़का है जो भागने में सफल रहा।
वही घटना से गुस्साए ग्रामीणों ने घटना के बाद चालक मानपुर थाना क्षेत्र के छबीलापुर गांव निवासी रामदेव महतो का पुत्र गोलू कुमार का हाथ-पैर बांधकर को बेरहमी से पीटा और घंटों जमकर बवाल किया।
घटना की सूचना पाकर मानपुर पुलिस मौके पर पहुंची तो गुस्साए ग्रामीणों ने अवैध बालू उत्खनन को लेकर थाना और खनन माफियाओं की मिलीभगत के काले कारोबार को उजागर करते हुए पुलिस बलों को खदेड़ दिया।
इसके बाद मौके पर भारी संख्या में पुलिस बल की तैनाती कर चालक को गुस्साए ग्रामीणों के कब्जे से मुक्त करा कर इलाज के लिए सदर अस्पताल पहुंचाया। जहां से उसे पीएीमसीएच रेफर किया गया।
इस घटना के बाद दो गांवों के बीच तनाव की स्थिति बनी हुई है, क्योंकि बगल के गांव के चालक को पीटने के दौरान इनके परिजन को भी गुस्साए ग्रामीणों ने आने नहीं दिया।
आखिर पुलिस-प्रशासन की मिलीभगत से बालू के अवैध खनन में कब तक निर्दोष अपनी जान गवांते रहेंगे और कारोबारी माफिया बेखौफ रहेगें?
वेशक डीएम साहेब, नेताओं की तरह आईएएस होकर सिर्फ मीडियाई जुमलेबाजी न करें। मानपुर में फिर दो बच्चों की मौत नहीं हुई है, अपितु शासन-प्रशासन की भ्रष्ट व्यवस्था की खुली सांठगांठ से बेखौफ बालू माफियाओं ने उनकी हत्या की है।
….और इसकी जबाबदेही से आप भी नहीं बच सकते। कीजिये कड़ी कार्रवाई। अन्यथा जब भी मानपुर में बालू माफियाओं के तांडव की चर्चा होगी, आप भी उस कुचर्चा की लपेट में जरुर आयेगें।