“एक ओर सरकार गरीब परिवार को रहने के लिए इंदिरा आवास के जरिये पक्की मकान जैसी महत्वकांक्षी योजनाओं को चला रही है, दूसरी ओर मुख्यमंत्री के गृह क्षेत्र नालंदा में एक बार फिर से महादलित गरीब परिवार का अपना हक मांगना महंगा पड़ गया।”
एक्सपर्ट मीडिया न्यूज। चंडी प्रखंड के उतरा गांव में दबंगों द्वारा अवैध तरीके से पईन की भराई की जा रही थी। जिसका कुछ महादलित परिवार ने विरोध किया था। लेकिन यह विरोध महादलित परिवार के लिए महंगा पड़ गया।
उल्टे प्रशासन के द्वारा अतिक्रमण के नाम पर महादलित परिवार के दो घरों को पूरी तरह से बुलडोजर से ध्वस्त करवा दिया गया। जबकि अभी ना तो उस इलाके में सड़क का निर्माण कराया जा रहा है और ना ही कोई अन्य सरकारी योजना का काम चल रहा है। अचानक इस अतिक्रमण से महादलित परिवार पूरी तरह से सड़क पर आ गया।
इस मामले में सफाई देते हुए चंडी प्रखंड के अंचलाधिकारी राजीव कुमार वर्मा ने कहा कि महादलित परिवार का घर अतिक्रमण को लेकर ध्वस्त किया गया है।
अंचलाधिकारी से पईन भराई को लेकर पूछे गए सवालों पर गोल मटोल जवाब देते हुए कहा कि पईन भराई का भी काम पूर्व से रोक दिया गया है। पूरी तरह से अतिक्रमण नियमानुसार ही किया गया है।
सवाल उठता है कि, आधा पईन भराई के बाद प्रशासन की नींद देर से क्यों जागी। ग्रामीणों ने प्रशासन के ऊपर दबंगों के साथ मिलकर मकान ध्वस्त करने का आरोप लगाया।
अतिक्रमण को देखते हुए ग्रामीण थोड़ी देर के लिए काफी उग्र हो गए लेकिन काफी संख्या में पुलिस बल की तैनाती होने के कारण ग्रामीण भी मजबूर दिखे।
महादलित परिवार प्रशासन के सामने गुहार लगाते थक गए, लेकिन प्रशासन के सामने उनकी एक न चली और दोनों मकान को पूरी तरह से सुरक्षा बलों की मौजूदगी में ध्वस्त कर दिया गया।
ग्रामीणों के अनुसार पईन के ठीक बगल में ही कुछ दबंगों का अपना खेत किसी दूसरे को बेचने को लेकर पईन भरा जा रहा था जिसे आने जाने का रास्ता साफ हो सके।
इसी का ग्रामीणों ने विरोध किया तो दबंगों ने पैसे के बल पर महादलित परिवार के दो घरों को पूरी तरह से तुड़वा दिया जबकि पईन की भी भराई अवैध तरीके से किसी दूसरे जगह से मिट्टी लाकर की जा रही है। पूरी तरह मामला जांच के घेरे में है। बावजूद प्रशासन गरीबों के ऊपर अपना सरकारी डंडा चलाने का काम किया।