रांची। आखिर वहीं हुआ जिसकी आशंका पहले से थी। भानू कंस्ट्रक्शन, जिसके बैंक खाते में स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की धुर्वा शाखा ने सरकारी स्कूलों के मध्याह्न भोजन का 100 करोड़ रुपये एक ही दिन में डाल दिया था, वह अब झारखंड से अपना बोरिया बिस्तर लगभग समेट लिया है।
भानू कंस्ट्रक्शन ने अपने ईमेल के जरिए सभी कर्मियों को सूचित किया है कि वह अपने लिए दूसरी नौकरी देख लें। अक्टूबर 2017 से झारखंड में किसी तरह का काम कंपनी ने करने से मना कर दिया है। कंपनी ने इस ईमेल की कॉपी अपने ऑफिस के बाहर भी चिपका दी है।
कंपनी के एचआर डिपार्टमेंट ने अपने कंपनी के सभी कर्मियों को 28 सिंतबर को ईमेल किया है। ईमेल में कंपनी के एचआर ने साफ लिखा है कि कंपनी काम नाम पिछले दिनों से अखबारों में लगातार आ रहा है।
कंपनी का कहना है कि अखबारों में खबर चल रही है कि कंपनी ने मिड डे मील के 100 करोड़ रुपए अपने खाते में डाल लिए हैं। 30 करोड़ अभी भी बैंक को वापस करना है। ऐसे में कंपनी अब झारखंड में किसी तरह का कोई कारोबार नहीं कर सकती है। इसलिए कंपनी को अक्टूबर 2017 से बंद किया जा रहा है।
मिड डे मिल के 100 करोड़ रुपये, जो स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की धुर्वा शाखा से भानु कंस्ट्रक्शन कंपनी के एकाउंट में ट्रांसफर किया गया था, उसमें सिर्फ 70 करोड़ रुपये ही वापस आ पाए हैं। 30 करोड़ रुपया लेकर भानु कंस्ट्रक्शन का मालिक संजय तिवारी फरार है।
मामले का खुलासा होने के बाद बैंक ने तत्काल 47.80 करोड़ रुपये की वापसी भानु कंस्ट्रक्शन कंपनी के एकाउंट से कर ली थी। हालांकि बैंक ने दावा किया है कि कुल 70 करोड़ रुपये वापस कर लिए गए हैं।