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    Friday, November 22, 2024
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      आखिर एक्सपर्ट मीडिया वालों से पुलिस-प्रशासन को इतनी एलर्जी क्यों है भई !

      हालांकि जब इस संबंध में नालंदा जिलाधिकारी से संपर्क स्थापित करने का प्रयास किया गया तो उन्होंने एक बार सिर्फ हेलो कहकर फोन डिस्कनेक्ट कर दिया…….”

      एक्सपर्ट मीडिया न्यूज न्यूज डेस्क। आज नालंदा जिले के अंतर्राष्ट्रीय पर्यटन स्थल राजगीर अवस्थित विश्व शांति स्तूप का 49 वां वार्षिकोत्सव मानाया गया। इस कार्यक्रम में बिहार के सीएम नीतीश कुमार बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुये।

      ADC AMRENDRA KUMAR 1कार्यक्रम कवरेज करने की लालसा लिए जब अन्य मीडियाकर्मियों के साथ हमारे अधिकृत संवाददाता प्रवेश द्वार पर पहंचे तो वहां तैनात मजिस्ट्रेट सह एडीसी अमरेन्द्र कुमार ने उन्हें यह कहकर रोक दिया कि डीएम साहब ने एक्सपर्ट मीडिया वाले को अंदर नहीं जाने देने की हिदायत दे रखी है।

      श्री कुमार ने यह बात तब कही, जब हमारे संवाददाता ने एक्सपर्ट मीडिया न्यूज नेटवर्क द्वारा प्रदत आईकार्ड दिखाया।

      इसके बाद वहां तैनात डीएसपी (विधि व्यवस्था) ज्योति प्रकाश ने मुख्य द्वार के अंदर जाकर हाथ पकड़ कर हमारे संवादादाता को बाहर कर दिया। जबकि साथ के सभी मीडियाकर्मियों को परिचय पत्र देख कर अंदर प्रवेश करने दिया गया।

      इस बाबत जब एडीसी अमरेन्द्र कुमार से कार्यक्रम समाप्त  के होने बाद पुछा गया तो उन्होंने कहा कि ऐसी बात नहीं है। बाद में डीएसपी ने अंदर जाने को कहा था। और इस तरह के मामले में फेस टू फेस बात आकर कीजिये।

      हालांकि उस समय एक्सपर्ट मीडिया न्यूज डेस्क की ओर से एडीसी से बात करने की कोशिश की गई, लेकिन वे हेलो-हेलो कर नेटवर्क कमजोर होने के संकेत देने लगे।

      इसके बाद जब संवावदाता को फोन कर खुद के फोन से बात कराने को कहा गया तो उन्होंने बात करने से इंकार कर दिया। लेकिन उधर से उनकी आवाजें साफ आ रही थी कि…डीपीआरओ या डीएम कहेगें तो जाने देगें। बात क्या करना।

      इसके बाद जिला सूचना जन संपर्क पदाधकारी से संपर्क साधा गया तो उनका कहना था कि उनके स्तर से सिर्फ इतना ही कहा गया है कि परिचय पत्र देख कर सबको आने देना है। किसी खास को रोकने का सवाल ही नहीं है। वे नीचे पदास्थापित मजिस्ट्रेट से बात करते हैं।

      इसके करीब आधा घंटा बाद डीएसपी (विधि व्यवस्था) ने हमारे संवाददाता को जाने देने की बात कही, जिन्होंने पुनः अपमानित होने से इंकार करते हुए वापस लौट आए।

      इसी बीच डीएसपी से भी मामले की जानकारी लेने हेतु कई बार संपर्क साधा गया लेकिन, उन्होंने हर बार एकतरफा आवाज आने की बात कह फोन डिस्कनेक्ट करते रहे। जबकि वे दूसरे फोन पर बतियाते रहे।

      NOT AVLE NALANDA ADMIN

      कार्यक्रम समाप्ति के बाद देर शाम जब जिला सूचना एवं जन संपर्क पदाधिकारी से इस संबंध में जानकारी चाही तो उन्होंने साफ तौर पर कहा कि उन्हें डीएम साहब की ओर से ऐसा कोई निर्देश नहीं दिये गये थे किसी खास स्थानीय मीडियाकर्मी को कार्यक्रम में प्रवेश नहीं करने देना है और न ही उन्होंने अपने स्तर से प्रवेश द्वार पर तैनात अफसरों को कहा था।

      जब उनसे पूछा गया कि “सवाल डीएम के आदेश से रोकने की बात है। भीड़ को रोकना और उसमें किसी खास व्यक्ति को इंगित कर रोकने में फर्क का है” …. तो इस पर उनका दो टूक कहना था कि वह उपर थे। नीचे किसके साथ क्या हुआ, वह देख नहीं रहे थे।

      बहरहाल, यदि नालंदा के डीएम डॉ. त्यागराजन एसएम. ने सिर्फ ‘एक्सपर्ट मीडिया वाले को प्रवेश नहीं करने देना है ’ जैसा आदेश दिया है तो इस पर कुछ नहीं कहा जा सकता, क्योंकि वे सीएम साहब के गृह जिले के आला पदाधिकारी हैं और बाकी हम एक्सपर्ट मीडिया वाले एक आम नागरिक…..

      ……और यदि उन्होंने ऐसा कुछ नहीं कहा है तो उनकी ही जिम्मेवारी बनती है कि वे अपने अधिनस्थ पदाधिकारी से पूछें कि उनके नाम पर इस तरह से ‘सार्वजनिक तौर पर बड़े  कारनामे करने’ के पिछे मंशा क्या है।

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