जमशेदपुर (एक्सपर्ट मीडिया न्यूज)। कोल्हान का सबसे बड़ा सरकारी अस्पताल एमजीएम अस्पताल है। जो जमशेदपुर में स्थित है। कोल्हान से तीन-तीन मुख्यमंत्री, छः मंत्री राज्य सरकार की शोभा बढ़ा चुके हैं। कुछ अभी भी है। मगर करोड़ों रूपए सालाना बजट वाले इस सरकारी अस्पताल की दशा और दिशा सुधार पाने में नाकाम रहे हैं।
भले मुख्यमंत्री से लेकर मंत्री तक लाख दावे कर रहे हों, मगर नतीजा ढाक के तीन पात वाला ही है। इसे विडंबना कहें या संयोग राज्य के वर्तमान स्वास्थ्य मंत्री भी इसी जिले के हैं। और जमशेदपुर पश्चिम के विधायक भी।
अभी 24 घंटे भी नहीं बीते कि इस अस्पताल ने मानवता को फिर से शर्मशार कर दिया है। जैसा कि आप इन तस्वीरों में साऱ देख रहे हैं। एक महिला को गंभीर अवस्था में यहां ईलाज के लिए लाया गया।
महिला ने फांसी लगा लिया था, लेकिन अस्पताल लाने तक महिला जिंदा थी। लेकिन ईलाज के अभाव में महिला के परिजन इधर- उधर तड़पते रहे, लेकिन न तो डॉक्टर ही मिले न स्वास्थ्यकर्मी।
अंततः महिला के परिजनों ने मुंह से ही महिला को पंपिंग करना शुरू किया। लेकिन वे विफल रहे औऱ महिला वे दम तोड़ दिया। आप इन तस्वीरों में साफ तौर पर देख सकते हैं। वैसे चौंकिए मत। अभी और भी रोचक तथ्य सामने आने वाला है।
देख सकते हैं कि लाल निशान वाले इस शख्श को इसका नाम मनोज बहादुर है। ये महाशय राज्य के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता के एमजीएम प्रभारी हैं। और यह पूरा वाक्या इनकी आंखों के सामने हो रहा है।
बता दें कि बीते 5 मार्च की रात को इस अस्पताल के मेडिसीन वार्ड में एक महिला रोगी के साथ दुष्कर्म की घटना घटती है। अस्पताल के अधीक्षक पूरे मामले पर लीपापोती में जुट जाते हैं।
वो तो भला हो जमशेदपुर पुलिस का जिसने इस जघन्य अपराध का खुलासा करते हुए आरोपी को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया है, लेकिन आरोपी को न्यायिक हिरासत में भेजे 24 घंटे भी नहीं बीते कि इस अस्पताल के डॉक्टरों और स्वास्थ्य कर्मियों ने एक कीर्तिमान और अपने नाम कर लिया है।
बहरहाल सरकार और राज्य के स्वास्थ्य मंत्री के लिए लोगों में खासा नाराजगी देखी जा रही है, जो अच्छे संकेत नहीं हैं।