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    Tuesday, March 19, 2024
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      नेशनल बैडमिंटन कोच के ईलाज में मेदांता की गुंडई, CMO के निर्देश पर हुआ FIR

      नेशनल बैडमिंटन कोच राजेश पासवार को उसकी पत्नी सुमन देवी ने अपना एक किडनी पति को देने के लिए तैयार हुई और 10 मार्च 2017 को मेदांता के चिकित्सक डॉ सिद्धार्थ मिश्रा व डॉ घनश्याम द्वारा किड्नी ट्रांसप्लांट किया गया, लेकिन…..”

      रांची (एक्सपर्ट मीडिया न्यूज/आमोद कुमार साहु)। सवालों के घेरे में पुलिस की कार्यशैली का एक और मामला प्रकाश में आया है। नेशनल बेडमिंटन कोच राजेश पासवान को प्रथमिकी दर्ज कराने के लिए एक थाना से दूसरे थाने का चक्कर लगाना पड़ा। उसके बाद मुख्यमंत्री रघुवर दास से शिकायत करने के बाद प्राथमिकी दर्ज हो सका।

      IRBA MEDANTA HOSPITAL CRUPTION 1नेशनल कोच राजेश पासवार अपना किड्नी ट्रांसप्लांट मेदांता हॉस्पिटल इरबा में कराया है। राजेश पासवान के अनुसार किड्नी ट्रांसप्लांट करने में अतिरिक्त राशि लेने के साथ उसके उपाचार में भी मेदांता द्वारा गड़बड़ी किया गया है।

      वहां के चिकित्सक द्वारा उसकी उसके व उसकी पत्नी सुमन देवी के साथ दुर्व्यवहार किया गया। जब वे प्रथमिकी दर्ज कराने ओरमांझी थाना पहुंचे, तो वहां समझौता कर लेने के लिए बोल दिया गया।

      प्राथमिकी दर्ज नही होने पर जब वे एसटीएसी थाना गया तो वहां प्राथमिकी दर्ज नही किया। इसके बाद मुख्यमंत्री जन शिकायत कोषांग में शिकायत करने के बाद एसपी के निर्देश पर एसटीएसी थाना में प्रथमिकी दर्ज हो सका।

      क्या है मामलाः

      नेशनल बेडमिंटन कोच राजेश पासवान पिता स्व दुखी राम, डॉक्टर कॉलोनी बारियातु में रहता है। वह रिम्स के स्टूडेंन्ट को कोचिंग देने के दौरान ही अचानक उसकी तबियत बिगड़ गई थी।IRBA MEDANTA HOSPITAL CRUPTION 3

      बाद में 9 मार्च 2017 को तबियत ज्याद बिगड़ने के बाद उपचार के लिए उसे मेदांता हॉस्पिटल ले जाया गया। वहां जांच के बाद चिकित्सकों ने बताया उसका दोनो किड्नी खराब मिला।

      ऐसे में उसकी पत्नी सुमन देवी ने अपना एक किडनी पति को देने के लिए तैयार हुई और 10 मार्च 2017 को मेदांता के चिकित्सक डॉ सिद्धार्थ मिश्रा व डॉ घनश्याम द्वारा किड्नी ट्रांसप्लांट किया गया।

      उपचार के लिए सरकार द्वारा मेदांता को पांच लाख रूपया दिया गया था। वावजूद मेदांता में टेस्ट व इंजेक्शन के नाम पर और एक से डेढ लाख रूपया लिया गया। जिसके बाद भी तबियत ठीक नही हुआ।

      इसकी शिकायत करने पर डॉ सिद्धार्थ मिश्रा द्वारा जाति सूचक गाली देने हुए दोनो की मिटाई भी किया गया। प्राथमिक दर्ज कराने थाना जाने पर वहां प्राथमिकी दर्ज नही कर समझौता कर लेने के लिए कहा गया। जब एसटीएस थाना गये तो वहां से भी लौटा दिया गया।

      34वां राष्ट्रीय खेल में किया है प्रतिनिधित्वः

      नेशनल बेडमिंटन कोच राजेश पासवान झारखंड सरकार द्वारा आयोजित 34वां राष्ट्रीय खेल-2008 में प्रतिनिधित्व करने के अलावा, नेशनल इंस्टिच्यूट ऑफ पटियाला, एनटीपीसी बेडमिंटन एसोसियशन राजस्थान व 78वां सिनियर नेशनल बेडमिंटन चैपिंयनशिप-2013 सहित कई प्रतियोगिता में कोचिंग करने वाले नेशनल कोच आज अपने जीवन के साथ न्याय पाने के लिए व्यवस्था से जुझना पड़ रहा है।

      सप्ताह में दो दिन कराना पड़ता है डायलॉसिसः 

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      राजेश पासवना की पत्नी सुमन देवी ने अपने पति का नेशनल प्रमाण पत्र व उपचार कराये गये कागजात दिखते हुए बताया कि मेदांता में उपचार के बाद भी तबियत ठीक नही होने पर, कलकता के चिकित्सक व अन्य चिकित्सकों से संपर्क किया।

      इसके बाद पता चला कि मेदांता में उपचार करने में काफी गड़बड़ी व उपचार के नाम पर ठगी किया गया है। सरकार का पैसा पांच लाख जमा रहने के बाद भी वहां बार-बार पैसा लिया गया। कमाने वाला भी कोई नही है। घर का खर्च सास का पेंशन से चलता है।

      गलत उपचार के कारण आज सप्ताह में दो दिन डायलॉसिस कराना पड़ता है। बच्चों का पढाई व घर के अन्य खर्च चलाना मुश्किल हो रहा है। बावजूद न्याय के लिए मरते दम तक संघर्ष करते रहेगें।

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